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PENGUIN ALGORITHM क्या है ?
Google ने Penguin Algorithm का निर्माण अप्रैल 2012 किया गया था Google Algorithm के अंतर्गत Penguin Algorithm के अनुसार आप कभी भी अपने ब्लॉग या वेबसाइट की ख़राब Link Building ना तैयार करे और साथ ही साथ आप कभी भी अपने ब्लॉग या वेबसाइट पर Cloaking, Keyword Stuffing जैसे कार्य ना करें
यदि आप ब्लॉग या वेबसाइट में Spam Link, Cloaking, Keyword Stuffing, Hidden लिंक जैसे काम करते है तो आपके ब्लॉग या वेबसाइट में Penguin Algorithm के अनुसार पेनल्टी लग जायेगी और आपकी वेबसाइट या ब्लॉग Google के माध्यम से ब्लैकलिस्ट में भी डल जायेगा
जिसके कारण आपकी वेबसाइट या ब्लॉग कभी भी गूगल में रैंक नहीं करेगा जो आपकी वेबसाइट या ब्लॉग के लिये बिल्कुल ठीक नहीं है और यह वेबसाइट या ब्लॉग का SEO ( Search Engine Optimization ) प्रभावित होगा जिससे वेबसाइट या ब्लॉग की क्वालिटी गूगल की नजर में गिर जायेगी
आप वेबसाइट या ब्लॉग में कभी भी Penguin Algorithm का उल्लघन ना करें यदि आप Penguin Algorithm का उल्लघन करते है तो आपकी वेबसाइट या ब्लॉग की रैंकिंग परमानेंट गूगल पर गिर सकती है जिससे आपकी वेबसाइट या ब्लॉग का कंटेंट भी ख़राब हो सकता है जो आपकी लिए ठीक नहीं है.
Penguin Algorithm के अनुसार हमें अपनी वेबसाइट या ब्लॉग में किस तरह की कार्य नहीं करना चाहिए।
- वेबसाइट या ब्लॉग को गूगल पर जल्दी – से जल्दी रैंक कराने के लिए कभी-भी किसी अन्य वेबसाइट या ब्लॉग से किसी भी प्रकार की Link ना ख़रीदे।
- वेबसाइट या ब्लॉग की Backline या Link Building उन वेबसाइट पर ना बनाये जिसका पेज रैंक , डोमेन Authority , Popularity आपकी वेबसाइट या ब्लॉग से कम हो।
- वेबसाइट या ब्लॉग के कंटेंट में कभी भी हाईड लिंक ना बनाये
- आप अपनी वेबसाइट या ब्लॉग में कभी भी लिंक स्पैम ना करें।
- आप अपनी वेबसाइट या ब्लॉग में कभी भी Keyword Stuffing जैसे कार्य ना करे।
गूगल को Penguin Algorithm बनाने की क्यों जरुरत पड़ गई थी ?
जब गूगल पर Penguin Algorithm नहीं थी तब कोई SEO यूजर अपनी वेबसाइट या ब्लॉग को गूगल के पहले पेज पर लाने लिंक स्पैमिंग करके रैंक करा देता था जिससे उन ब्लॉगर की वेबसाइट या ब्लॉग का कंटेंट गूगल पर रैंक नहीं हो पाता था जो अपनी वेबसाइट या ब्लॉग का SEO एक ईमानदारी से कर रहे है
तो इसी बात को ध्यान में रखते हुये Penguin Algorithm का निर्माण किया जिसके निर्माण होते ही गूगल के सर्च इंजन की रैंकिंग बहुत सी वेबसाइट या ब्लॉग काफी प्रभावित हुये और उन सभी वेबसाइट या ब्लॉग की रैंकिंग काफी गिर गई जो अपनी वेबसाइट या ब्लॉग में Penguin Algorithm के अनुसार काम नहीं कर रहे थे।